अमर शहीद मेजर दुर्गा मल्ल की 108वीं जन्म जयन्ती उन्हें किया गया याद
शब्द रथ न्यूज, ब्यूरो (shabd rath news)। अमर शहीद मेजर दुर्गा मल्ल की 108वीं जयन्ती पर आज शहीद मेजर दुर्गा मल्ल योगा पार्क गढी़ कैंट में श्रद्धांजलि कार्यक्रम आयोजित किया गया। उत्तराखंड राज्य भाषा समिति के उपाध्यक्ष मधुसूदन शर्मा व गोर्खाली सुधार सभा की मैनेजर प्रभा शाह के नेतृत्व में गोर्खाली समुदाय ने शहीद मेजर दुर्गा मल्ल की प्रतिमा पर श्रद्धा सुमन अर्पित उन्हें याद किया।
शहीद मेजर दुर्गा मल्ल ( एक जुलाई 1913 –25 अगस्त1944 ) आजाद हिंद फौज के प्रथम गोर्खा सैनिक थे, जिन्होंने भारत की स्वतंत्रता के लिए अपने प्राणों की आहुति दी। दुर्गा मल्ल का जन्म एक जुलाई 1913 को देहरादून के निकट डोईवाला में गोर्खा राईफल्स के नायब सूबेदार गंगाराम मल्ल क्षेत्री व पार्वती देवी के घर में हुआ। वह बचपन से ही बहादुर और प्रतिभावान थे। उन्होंने गोर्खा मिलट्री इंटर कालेज प्रारंभिक शिक्षा प्राप्त की।
सन् 1931 में मात्र 18 वर्ष की आयु में दुर्गा मल्ल 2/1 गोर्खा राईफल्स में भर्ती हो गये। लगभग 10 वर्ष तक उन्होंने सेवा की। एक सितम्बर 1942 में नेताजी सुभाष चंद्र बोस ने आजाद हिंद फौज का गठन किया। दुर्गा मल्ल आजाद हिन्द फौज में भर्ती हो गए। उनकी भूमिका से प्रभावित होकर नेताजी ने उन्हें मेजर की पदवी से नवाजा। बाद में उन्हें गुप्तचर शाखा का महत्वपूर्ण कार्य सौंपा गया। 27 मार्च 1944 को महत्वपूर्ण सूचनाऐं एकत्र करते समयदुर्गा मल्ल को अंग्रेजी सेना ने मणिपुर में कोहिमा के पास उखरूल में पकड़ लिया। युद्धबंदी बनाकर उन्हें बहुत यातनाएँ दी गईं। उन्हें माफी माँगने को कहा गया। लेकिन, आजादी के दीवाने दुर्गा मल्ल ने माफी नहीं माँगी। 15 अगस्त 1944 को उन्हें लालकिले की सैंट्रल जेल में लाया गया। दस दिन बाद 25 अगस्त 1944 को उन्हें फाँसी के फंदे पर चढा़ दिया गया। जाँबाज वीर मेजर दुर्गा मल्ल ने हँसते हँसते माँ भारती की आजादी के लिए अपने प्राणों का बलिदान दे दिया।
श्रद्धांजलि कार्यक्रम में राजेंद्र मल्ल, सुयश थापा, सृजना थापा, हरि बहादुर, आरएस शाह, वंदिता राना, कृष्ण सिंह, काजल आदि शामिल हुए।