जताया विरोध: किसानों ने जलाई किसान विरोधी अध्यादेशों की प्रतियां
देहरादून। देशव्यापी विरोध दिवस पर सोमवार को देहरादून में भी किसानों ने किसान विरोधी अध्यादेश की प्रतियां जलाकर विरोध जताया। दीनदयाल पार्क में आयोजित कार्यक्रम में वक्ताओं ने कहा कि देशभर की तरह उत्तराखंड में भी किसान अध्यादेशों का जोरदार विरोध कर रहे हैं ताकि संसद में सरकार को इसे कानून बनाने से रोका जा सके।मोदी सरकार की किसान विरोधी, तानाशाही सोच के खिलाफ देशभर के किसान सड़कों पर हैं। वक्ताओं ने कहा कि यदि अध्यादेश कानून की शक्ल लेते हैं तो निश्चित तौर पर कृषि क्षेत्र में बहुराष्ट्रीय कम्पनियों की घुसपैठ हो जाएगी। कृषि पर इनका एकाधिकार हो जाऐगा। सरकार खुदरा बाज़ार व मंडियों पर प्रतिबंध लगाकर कोरपोरेट को लूट की छूट दे रही है। आवश्यक वस्तु अधिनियम को बदलकर कारपोरेट को मनचाहा भण्डारण की खुली छूट दी जाऐगी। जिस कारण खाद्य सामग्री अत्यधिक मंहगी हो जायेगी। बिजली का भी निजीकरण करके प्रीपेड मीटर लगाने के आदेश जारी होने वाले हैं। हरियाणा में किसानों पर हुए बर्बर लाठीचार्ज की निंदा करते किसानों के आन्दोलन के साथ एकजुटता का इज़हार किया गया। देहरादून दीनदयाल पार्क में आयोजित कार्यक्रम में किसान सभा, उत्तराखण्ड सर्वोदय मण्डल, वन जन श्रमजीवी यूनियन, स्वराज पार्टी, भूतपूर्व सैनिक, वन गुर्जर, उत्तराखंड सीएमडी, पीपुल्स फोरम, दस्तक आदि संगठन शामिल रहे इस अवसर पर सुरेन्द्र सिंह सजवाण, हरवीर कुशवाहा, पीसी थपलियाल, बच्चीराम कौसवाल, एसएस पांगती पूर्व आयुक्त, डा जितेन्द्र भारती, विजय शंकर शुक्ला, बीजू नेगी, जयकृत कण्डवाल, दलजीत सिंह, सतीश धौलाखण्डी, याकूब अली, यूएन ब, अनन्त आकाश, कमरूद्दीन, राजेन्द्र पुरोहित, प्रदीप, कृष्ण सिंह, अनूप सिंह आदि मौजूद रहे।