गोविंद कृष्ण मुरारी, चरणों का मैं पुजारी…
चंदेल साहब
कवि/लेखक
बिलासपुर, हिमाचल
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गोविंद कृष्ण मुरारी, चरणों का मैं पुजारी…
पूजा करूँगा तेरी, विनती करूँगा तेरी…
मैंने सुना है रामयुग में, तूने सबरी तारी…
मैंने सुना है रामयुग में, तूने सबरी तारी…
तेरी राह को तकते-२, उम्र है सारी वारी…
धन्य है भीलनी प्यारी, पूजा करी तुम्हारी…
गोविंद कृष्ण मुरारी, चरणों का मैं पुजारी…
मैंने सुना है कृष्ण युग में, तूने कुब्जा तारी…
मैंने सुना है कृष्ण युग में, तूने कुब्जा तारी…
सुंदरी-२ कहकर काया सुंदर कर डाली,
धन्य है कुब्जा प्यारी, श्रृंगार करी तुम्हारी…
गोविंद कृष्ण मुरारी, चरणों का मैं पुजारी…
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सर्वाधिकार सुरक्षित।
प्रकाशित…..18/11/2020
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