Sun. Nov 24th, 2024

बॉलीवुड अभिनेत्री कंगना रनौत को y श्रेणी सुरक्षा, बौखलाई शिवसेना सरकार ने कंगना के ऑफिस में छापा मारा

शब्द रथ न्यूज। बॉलीवुड अभिनेत्री कंगना रनौत को केंद्रीय गृह मंत्रालय ने y श्रेणी की सुरक्षा उपलब्ध करवाई है। शिवसेना नेता संजय राउत की मुंबई में न घुसने देने की धमकी के बाद कंगना के अनुरोध पर गृह मंत्रालय ने उन्हें सुरक्षा दी है। दूसरी तरफ, कंगना को y श्रेणी की सुरक्षा मिलने से महाराष्ट्र की शिवसेना सरकार बौखला गई है। सरकार के इशारे पर बीएमसी ने कंगना के मुंबई स्थित ऑफिस में छापा मारकर उसे अवैध बताया है। इस पर ट्वीट करते हुए कंगना ने कहा कि बौखलाहट में सरकार उनके ऑफिस को तुड़वाने पर आमादा है।


गौरतलब है कि सुशांत सिंह राजपूत के आत्‍महत्‍या मामले में बयान दिए जाने के चलते बॉलीवुड अभिनेत्री कंगना रनौत बीते कुछ दिनों से लगातार सुर्खियों में हैं। उन्‍होंने मुंबई को लेकर जो बयान दिया था, उस पर फिल्‍म इंडस्‍ट्री से जुड़े लोगों ने कमेंट किए थे। पंगा गर्ल कंगना के पिता ने मुंबई में उनकी सुरक्षा को लेकर चिंता जताई थी। इसके बाद केंद्रीय गृह मंत्रालय ने उन्‍हें y श्रेणी की सुरक्षा व्‍यवस्‍था उपलब्‍ध करवाई है।
भारत में किसी की सुरक्षा की पांच श्रेणी हैं, जिन्‍हें केंद्रीय गृह मंत्रालय मुहैया करवाता है। अलग-अलग श्रेणी के हिसाब से इनमें जवानों की संख्‍या तय होती है। क्या होती है वाई, जेड और जेड प्लस सिक्योरिटी, कितनी श्रेणी में किसे और किन परिस्थितियों में मिलती है सुरक्षा. ..आइए जानते हैं।

गृह मंत्रालय देता है सुरक्षा

वीआईपी को दी जाने वाली सुरक्षा का मामला केंद्रीय गृह मंत्रालय के अधीन आता है। एसपीजी, इंटेलिजेंस ब्यूरो (आईबी) के एक विभाग के रूप में काम करती है। गृह मंत्रालय समय समय पर वीआईपी सुरक्षा की समीक्षा करता रहा है। उसी के हिसाब से सुरक्षा को नियमित अंतराल पर घटाया-बढ़ाया जाता है। वीआईपी सुरक्षा के लिए देश में एसपीजी के अलावा X, Y, Z और Z+ सुरक्षा की व्यवस्था है।

यह है देश में VIP सुरक्षा की व्यवस्था

एसपीजी सुरक्षा

विशेष सुरक्षा दल यानी स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप (SPG) देश की सबसे उच्च स्तर की सुरक्षा फोर्स है, जो बहुत सीमित लोगों को प्रदान की जाती है। एसपीजी की सुरक्षा चार स्तर की होती है।

Z+ सुरक्षा

एसपीजी के बाद जेड प्लस देश में दूसरे कैटेगरी की वीआईपी सुरक्षा है। जेड प्लस तीन स्तर की सुरक्षा होती है। इसमें 36 सुरक्षाकर्मी मिलते हैं। इनमें 10 एनएसजी के विशेष कमांडो होते हैं, जो पहले घेरे या प्रथम स्तर की सुरक्षा की जिम्मेदारी संभालते हैं। इसके बाद एनएसजी के अन्य जवान दूसरे लेयर की सुरक्षा संभालते हैं। तीसरे घेरे की जिम्मेदारी अर्धसैनिक बलों जैसे आईटीबीपी, सीआरपीएफ, सीआईएसएफ आदि के जवानों को शामिल किया जाता है। जेड़ प्लस सुरक्षा आमतौर पर उन्हीं केंद्रीय मंत्रियों या विशिष्ट अतिथियों को दी जाती है, जिन्हें आतंकी खतरा हो।

जेड सुरक्षा

यह तीसरे नंबर की वीआईपी सुरक्षा होती है। जेड सुरक्षा में कुल 22 जवान होते हैं। इनमें से चार-पांच एनएसजी के विशेष कमांडो होते हैं, जो करीबी लड़ाई की कई विधाओं में पारंगत होते हैं। ये कमांडो बिना हथियार के भी दुश्मन का मुकाबला करने में माहिर होते हैं। इसके लिए इन्हें विशेष प्रशिक्षण दिया जाता है। एक एस्कॉर्ट वाहन भी सुरक्षा में शामिल होता है। एनएसजी कमांडो टुकड़ी के अलावा जेड सुरक्षा में दिल्ली पुलिस या सीआरपीएफ के जवानों को भी शामिल किया जाता है।

Y सुरक्षा

वीआईपी सुरक्षा में चौथे स्थान पर आने वाली Y श्रेणी की सुरक्षा सबसे कॉमन है। ज्यादातर वीआईपी को केंद्रीय गृह मंत्रालय की तरफ से Y श्रेणी की ही सुरक्षा मुहैया कराई जाती है। इसमें 11 जवान शामिल होते हैं। इनमें एक या दो कमांडों, दो पीएसओ और शेष अर्धसैनिक बलों के जवान होते हैं।

X सुरक्षा

वीआईपी को दी जाने वाली ये शुरूआती सुरक्षा सिस्टम है। एक्स श्रेणी में दो सुरक्षाकर्मी शामिल होते हैं। इनमें में एक पीएसओ भी होता है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *