Sun. Nov 24th, 2024

Litrature

कवि धर्मेन्द्र उनियाल ‘धर्मी’ की एक गढ़वाली रचना..मैंगाई की मार छा.. यू कनु अत्याचार छा

धर्मेंद्र उनियाल ‘धर्मी’ अल्मोड़ा, उत्तराखंड ———————————- मैंगाई की, मार छा, यू कनु अत्याचार छा, आटू…

कवि जसवीर सिंह हलधर की शानदार ग़ज़ल.. जरूर पढ़िए.. नाम मजहब पर कई बीमारियाँ हैं देश में..

जसवीर सिंह हलधर देहरादून, उत्तराखंड ——————————————– ग़ज़ल (हिंदी) ————————- धर्म भी निरपेक्ष यह अय्यारियाँ हैं…

कवि जसवीर सिंह हलधर की हिंदी गज़ल.. दिले जज़्बात लिखता हूँ तराने हिन्द गाता हूँ

जसवीर सिंह हलधर देहरादून, उत्तराखंड ————————————– ग़ज़ल (हिंदी) —————————— दिले जज़्बात लिखता हूँ तराने हिन्द…

तारा पाठक की एक रचना.. दखल अंदाजी प्रकृति से मौसम हुआ भुलक्कड़

तारा पाठक वर्सोवा, मुंबई, महाराष्ट्र ——————————————– प्रकृति से छेड़खानी का नतीजा ———————————————— दखलअंदाजी प्रकृति से…

कवयित्री पुष्पा जोशी प्राकाम्य की शानदार रचना भारत की बेटियों के नाम

पुष्पा जोशी ‘प्राकाम्य’ उधमसिंह नगर, उत्तराखंड ——————————————— “बेटियाँ” —————————– हम भारत की बेटियाँ हैं, नहीं…